तकनीक की दिशा में नए आयाम स्थापित करने की दिशा में आज़ादी के पर्व पर लांच की गयी युवाओं के लिए प्रभावी कैंपेन

जयपुर बेस्ड टेक्नोलॉजी गुरु ने लांच की यह कैंपेन जिसका उदेश्य तकनीकी एजुकेशन और सिस्टम डिज़ाइन की लर्निंग को सरल बनाना है ताकि युवा इसका सीधा फायदा उठा सके।  

आज, हमें एजुकेशन सीखने की जटिल तकनीकों और टेक्नोलॉजी के क्षेत्र में  " सिस्टम डिजाइन " जो टेक्नोलॉजी इनोवेशन का आधार है को सीखने के लिए पुराने पैटर्न्स और भ्रामक तरीकों को छोड़ने की ज़रूरत है। यह तरीके भ्रामक हनी के साथ ही टेक्नोलॉजी के क्षेत्र में भविष्य बनाने के लिए तैयार हो रहे युवाओं को सही मार्गदर्शन नहीं दे पा रहे हैं, " यह कहा टेक्नोलॉजी गुरु के नाम से मशहूर जयपुर बेस्ड विमल डागा ने।  तकनीकी शिक्षा और स्किलिंग के लक्ष्यों  को प्राप्त करने के लिए आज  ज़रूरी है कि  युवाओं को सही मार्गदर्शन मिले और युवा सरल और सीधे तरीकों से एडुकेशन प्राप्त कर सके। इन्ही इशूस को एड्रेस करते हुए भारत की स्वतंत्रता की  ७५ वी सालगिरह के अवसर पर  विमल डागा  ने " सिंपलीफाई लर्निंग " कैंपेन लांच की जिसका उद्देश्य युवाओं को को सिस्टम डिजाइन और टेक लर्निंग  के जटिल और भ्रमित करने वाले तरीके से बचाते हुए उन्हे सही मार्गदर्शन देना था और साथ ही उन्हें एजुकेशन के सरल तरीके, सही दृष्टिकोण और सही अप्रोच से अवगत करवाना था।  


इस मुद्दे को संबोधित करने और छात्रों को उनके भविष्य के लिए बेहतर विकल्प में मदद करने के लिए प्रौद्योगिकी विशेषज्ञ, विमल डागा ने एक महीने तक चलने वाले इस अभियान का अनावरण किया जिसके द्वारा शिक्षा पर अधिक बल देना था ना  कि उसके प्रोसेस को जटिल बना देना जैसे महत्वपूर्ण पहलुओं  को उजागर किया जाएगा। एक महीने तक चलने वाले इस अभियान के माध्यम से, छात्रों को उन प्रैक्टिसेज को  त्यागने के लिए प्रोत्साहित  किया जाएगा जो उन्हें आगे नहीं बढ़ने देते हैं. इसके बारे में बोलते हुए विमल ने कहा, सिस्टम  डिजाइन तकनीक के क्षेत्र में सबसे ज़रूरी मार्ग है और इसी में अलग अलग सब्जेक्ट्स को  सीखने के लिए स्टूडेंट्स अलग अलग टीचर्स के पास जाते हैं, ये सब्जेक्ट्स और घटक आपस में जुड़े हुए हैं और इसको सिखाने वाले टीचर्स का सभी सब्जेक्ट्स में एक्सपर्ट होना ज़रूरी है जो की नहीं हो रहा है और बच्चे आधी अधूरी जानकारी लेकर रह जाते हैं, समस्या तब खड़ी होती है जब वो इस जानकारी के साथ जॉब के लिए उतरते हैं और टेक्नोलॉजी को क्रैक नहीं कर पाते हैं.  यही नहीं ऐसे और भी अनेक इशूस हैं जिनके बारे में स्टूडेंट्स को पता ही नहीं होता और हम इन्ही को लेकर आज़ादी के पर्व के अवसर पर जागरूकता अभियान चलाना चाहते हैं.

यह कैंपेन  उन्हें टेक्नोलॉजी, सिस्टम डिजाइन को लेकर  सरल प्रणाली अपनाने में मदद करेगा  इस अभियान में राजस्थान, जयपुर, दिल्ली, गुड़गांव और पंजाब के युवा  भाग ले रहे हैं और इसके अतिरिक्त अभियान के माध्यम से अन्य महत्वपूर्ण मुद्दों पर भी प्रकाश डाला जाएगा और उन्हें संबोधित करेगा, वे इशूस हैं , इंजीनियरिंग छात्रों के लिए कठिन परीक्षाओं की तैयारी, एक अनुशासित कार्यक्रम बनाए रखना, ग्रेड के साथ सहज होना, पाठ्यक्रम के साथ रहना, भाषा प्रवीणता, अवशोषित क्षमता में कमी, कम उद्योग संपर्क, रोजगार योग्यता, सही लक्ष्य बनाना और गलत लक्ष्य बनाने से बचना, प्लेसमेंट के मुद्दे, आत्मविश्वास की कमी, समय प्रबंधन की ट्रिक्स, उचित शिक्षा और करियर मार्गदर्शन की कमी, उच्च शुल्क और खर्च जैसी समस्याएँ ,  संकल्प की कमी इत्यादि।  

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